— रिपोर्ट: अभय मांझी, मनिका
लातेहार: जिले के मनिका प्रखंड में मनरेगा योजनाएं अब सिर्फ कागज़ों पर नहीं, बल्कि जमीन पर दिखाई देने लगी हैं। प्रखंड विकास पदाधिकारी संदीप कुमार के नेतृत्व में प्रशासनिक और तकनीकी टीम की मेहनत रंग ला रही है।
मनरेगा योजनाओं की निगरानी और क्रियान्वयन में सीएफटी (CFT) टीम की भूमिका भी काफी सराहनीय रही है। जान्हो, बरवैया, डोकी, मटलौंग जैसे कई पंचायतों में आम बागवानी, कुआं निर्माण जैसी योजनाओं का कार्य तेज़ी से जारी है।

प्रखंड विकास पदाधिकारी संदीप कुमार खुद फील्ड में उतरकर योजनाओं की मॉनिटरिंग कर रहे हैं। उनके साथ बीपीओ संतोष कुमार और सीएफटी की टीम कदम से कदम मिलाकर काम कर रही है।
गांवों में इन योजनाओं का असर साफ दिखाई देने लगा है। जहाँ पहले मनरेगा योजनाओं में भ्रष्टाचार और बिचौलियों की दखल आम बात थी, वहीं अब स्थितियां बदल रही हैं। संदीप कुमार और उनकी टीम ग्रामीणों से सीधा संवाद स्थापित कर रही है, जिससे योजनाओं का वास्तविक लाभ ज़रूरतमंदों तक पहुँच रहा है।

मनिका प्रखंड में मजदूरों का पलायन लंबे समय से चिंता का विषय रहा है। ऐसे में स्थानीय स्तर पर रोजगार उपलब्ध कराकर मनरेगा ने लोगों को राहत दी है। बिचौलियों के नेटवर्क पर अंकुश लगने से कुछ स्वार्थी तत्वों में नाराज़गी भी देखी जा रही है।
प्रखंड विकास पदाधिकारी संदीप कुमार ने कहा, “मनरेगा को पारदर्शी और प्रभावी बनाने का प्रयास जारी है। हम चाहते हैं कि योजनाओं का सीधा लाभ ग्रामीण किसान परिवारों को मिले, और इसके लिए सभी के सहयोग की जरूरत है।”
मनिका प्रखंड में विकास की इस नई लहर ने उम्मीदों के नए द्वार खोल दिए हैं।